Urinary Tract Infection in Hindi: मूत्र मार्ग में संक्रमण के कारण, लक्षण और उपचार: Mutra Marg Me sankraman ke Lakshan, Karan aur Upchar
मूत्र मार्ग में जलन होना आम बात है लेकिन जब यह जलन हमेशा होने लगे और दर्द महसूस होने लगे तो इसके पीछे कोई गंभीर कारण हो सकता है। दरअशल यह मूत्र मार्ग के संक्रमण का संकेत है।
जब भी कोई व्यक्ति पेशाब को बहुत देर तक रोक कर रखता है तो पेशाब में उपस्थित बैक्टीरिया और यीस्ट गुर्दे मूत्रवाहिनी की और बढ़ते है तो यह संक्रमण को फैलाते है।
मूत्र मार्ग में संक्रमण के कई कारण होते है जैसे लोगो का ऑफिस या फिर स्कूल/कॉलेज में कॉमन टॉयलेट का उपयोग करना, पेशाब को बहुत देर तक रोककर रखना। यह सभी बाते मूत्र मार्ग में संक्रमण को बुलावा देते है। जिस तरह से एक जगह इकट्ठा हुए पानी में बैक्टीरिया पैदा होने लगते है उसी तरह व्यक्ति के शरीर में पेशाब को एक जगह बहुत देर तक रोक लिया जाए तो मूत्राशय में भी बैक्टीरिया की संख्या बढ़ने लगती है।
पुरुषो की तुलना में महिलाओ में मूत्राशय होने का खतरा सबसे अधिक होता है। महिलाओ की मूत्रवाहिनी, पुरुषो की तुलना में बहुत छोटी होती है। यौन क्रिया के दौरान जब भी इसमें चोट लगती है तब मूत्र मार्ग का संक्रमण होता है। मूत्र मार्ग के संक्रमण के और भी कारण, लक्षण और इसके इलाज के बारे में जानने के लिए आइये पढ़े Urinary Tract Infection in Hindi.
Urinary Tract Infection:
Bache Mutra Marg Ke Sankraman Se
Mutra Marg Mai Sankraman
Ke Lakshan
मूत्र मार्ग में संक्रमण के कई लक्षण होते है, Symptoms of Urinary Tract Infection में आइये पढ़े इसके मुख्य लक्षण
बुखार के साथ-साथ थकान लगना
पेशाब करते समय मूत्र मार्ग में जलन और दर्द होना
बार-बार पेशाब जाने की इक्षा होना
पेट की पसलियों या पीठ के निचे दर्द होना
पेट के निचले हिस्से में दवाब होना
पेशाब से बुरी बदबू आना
गुप्तांगो में खुजली होना
हल्के लाल रंग या फिर काले रंग की पेशाब आना
Mutra Marg Mai Sankraman
Ke Karan
गुर्दे रक्त को साफ़ करके , रक्त में मौजूद विषैले और अनुपयोगी तत्वो को हटाकर मूत्र के जरिये शरीर से बाहर निकालने का काम करता है। यह पदार्थ गुर्दे से मूत्रवाहिनियों के रास्ते से होते हुए मूत्राशय में जमा हो जाता है। जब मूत्राशय पूरा भर जाता है तो यूरेथ्रा में दवाब पड़ता है और व्यक्तियों को मूत्र त्यागने की जरुरत महसूस होती है। ऐसी स्थिति में व्यक्ति यदि किसी कारण वश पेशाब को बाहर निकालने में बाधा बनता है तो यह संक्रमण का कारण बनता है।
मूत्र मार्ग में संक्रमण का कारण इशरीकिया कोली यानी ‘कोली E’ होता है। कोली E एक प्रकार का बैक्टीरिया है जो की मूत्र मार्ग में संक्रमण का कारण बनता है। यह कोली E, व्यक्तियों के गुर्दे और मूत्र मार्ग में पाए जाते है और पुरे शरीर मे घूमते रहते है। यहाँ पढ़े और भी Causes of Urinary Tract Infection.
साफ़-सफाई का ना होना भी मूत्र मार्ग के संक्रमण का कारण होता है। इसलिए हमें अपने बाथरूम को स्वच्छ रखना चाहिए और कॉमन बाथरूम को शेयर नहीं करना चाहिए।
सम्भोग के द्वारा भी मूत्र मार्ग में संक्रमण होता है। और यह संक्रमण महिलाओ में अधिक होता है। सम्भोग के दौरान जब भी मूत्र मार्ग के द्वारा मूत्राशय पर दवाब पड़ता है तो यह कोली E बैक्टीरिया पेट से मूत्राशय तक पहुच जाता है। जिससे संक्रमण होने की आशंका बढ़ जाती है। इसके आलावा कंडोम का प्रयोग करने से जब त्वचा पर रगड़ लगती है तब भी मूत्र मार्ग में संक्रमण हो सकता है।
मधुमेह रोग से पीड़ित व्यक्तियों को भी मूत्र मार्ग का संक्रमण होने का खतरा सबसे अधिक होता है।
Mutra Marg Mai Sankraman
Ke Nidan
मूत्र मार्ग में संक्रमण से बचने के कई तरीके है। तो आइये यहाँ पढ़े treatment of Urinary Tract Infection.
पानी पीना स्वस्थ के लिए बहुत जरुरी है। शायद आप जानते होंगे की पानी पिने से मूत्र मार्ग के संक्रमण से बचा जा सकता है। पानी शरीर में मौजूद बैक्टीरिया और जीवाणुओ शरीर से बाहर निकलने में मदद करता है। इसलिए दिन में लगभग 8 से 10 गिलास पानी जरूर पिए।
व्यक्तियों को हमेशा कॉटन फैब्रिक से बनी अंडरवियर ही पहनना चाहिए। कॉटन से बनी अंडरवियर से त्वचा हमेशा ड्राई बनी रहती है।
सम्भोग के बाद हमेशा पेशाब करना चाहिए। ऐसा करने से ट्रैक के पास यदि कोई बैक्टीरिया होगा तो वो साफ़ हो जाता है।
कभी भी तेज पेशाब को नहीं रोकना चाहिए। जब भी पेशाब लगे तुरंत जाना चाहिए। इससे UTIs होने का खतरा नहीं रहेगा।
पेशाब करने के बाद पानी से धोये, जिससे बैक्टीरिया जमा नहीं रहते है।
ऊपर आपने जाना Urinary Tract Infection in Hindi. यदि आप भी ऊपर दिए गए मूत्रमार्ग के लक्षणों से परेशान है तो सही चिकित्सा और उपायो को अपनाये और इस परेशानी से बचे।
